Mumbai , 24 अगस्त . महाराष्ट्र सरकार के कैबिनेट मंत्री नितेश राणे ने गणेशोत्सव पर कोकण के लिए ‘मोदी एक्सप्रेस’ ट्रेन चलाने की तारीफ की. उन्होंने इस पहल को भाजपा की जनसेवा की भावना बताया.
महाराष्ट्र सरकार के मंत्री नितेश राणे ने से कहा, “पिछले 13 वर्षों से हम ‘मोदी एक्सप्रेस’ के माध्यम से कोकण के लिए बड़ी संख्या में यात्रियों को सुविधा प्रदान कर रहे हैं. जो लोग Mumbai में नौकरी या व्यवसाय के सिलसिले में रहते हैं, वे गणेशोत्सव के समय अपने गांव जाना चाहते हैं. ऐसे लोगों के लिए यह विशेष ट्रेन सेवा शुरू की गई है. जब ट्रेन रवाना होती है, तो हर चेहरे पर एक अलग ही खुशी दिखाई देती है. यह सेवा भारतीय जनता पार्टी की जनसेवा की भावना को दर्शाती है.”
उन्होंने कहा, “हम विष्णु भगवान के बारह अवतारों की पूजा करते हैं. हमारे त्योहार हमारी परंपराओं से जुड़े हैं. पूरे महाराष्ट्र में, चाहे शहर हो या गांव, हिंदू त्योहार बड़े धूमधाम से मनाए जा रहे हैं. ऐसे में जरूरी है कि स्कूलों में बच्चों को हिंदू धर्म और सनातन संस्कृति के बारे में पढ़ाया जाए, जिससे वे अपनी जड़ों और परंपराओं को समझ सकें.”
उन्होंने महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) प्रमुख राज ठाकरे की Lok Sabha के नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के ‘वोट चोरी’ के मुद्दे को समर्थन देने की आलोचना की. उन्होंने कहा, “हमने ट्रेनों के जरिए जो सेवा दी, वह भी कुछ लोगों को ‘वोट चोरी’ लगती है. सच तो यह है कि हम 24 घंटे जनता की सेवा करते हैं. लोगों का दिल जीतकर जब हमें वोट मिलता है, तो कुछ लोग उसे ‘चोरी’ कहते हैं. जो लोग खुद कुछ नहीं करते, वे दूसरों की मेहनत को बदनाम करने की कोशिश करते हैं. यह उनका नाटक है.”
उन्होंने कहा, “सुप्रिया ताई को अगर कुछ बोलना है तो केवल हिंदू धर्म के बारे में ही क्यों? क्या उनमें हिम्मत है कि वे ऐसे बयान किसी और धर्म के त्योहारों को लेकर दें? हिंदू धर्म और हमारे देवी-देवताओं को ही क्यों निशाना बनाया जाता है? अगर किसी और धर्म के बारे में कुछ कहेंगी, तब उन्हें समझ आएगा कि ऐसे बयानों के क्या नतीजे हो सकते हैं? सनातन धर्म को बार-बार निशाना बनाना ठीक नहीं है.”
शिवसेना (यूबीटी) के प्रमुख उद्धव ठाकरे के भारत-पाकिस्तान मैच और ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर दिए बयान को लेकर उन्होंने कहा, “एक गली के नेता को देश के प्रधानमंत्री को सलाह देने का कोई अधिकार नहीं है. हमारे प्रधानमंत्री को पाकिस्तान को कैसे जवाब देना है, इसका अनुभव है और उन्होंने अपने शासनकाल में पाकिस्तान को उसकी औकात दिखा दी है. उद्धव ठाकरे को इस विषय पर बोलने का कोई स्तर नहीं है. उन्हें अपनी सीमाओं में रहना चाहिए.”
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एससीएच/एबीएम
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